मलबे में दबकर मॉं-बेटी की मौत
गौचर में वाहन चालक की मौत
दो कारें मलबे में दबकर क्षतिग्रस्त
देहरादून। आसमानी आपदा की मार से पहाड़ पर हाहाकार मचा हुआ है। लगातार हो रही मूसलाधार बारिश से नदी-नालों ने ऐसा रौद्र रूप ले लिया है कि वह अपने साथ सब कुछ बहा ले जाने पर आमादा है। वही पहाड़ों के टूटने के कारण सड़कों पर आवाजाही दुबर हो गई है। तथा लोग भय के साए में जीने पर मजबूर हैं।
बीती रात टिहरी के बूढ़ेकेदार क्षेत्र में भारी बारिश के कारण बाल गंगा नदी ने तोली गांव में ऐसी तबाही मचाई कि दीवारें तोड़कर मलवा लोगों के घरों में घुस गया और उन्हें जान बचाने का भी मौका नहीं मिला एक घर में सो रहे पांच लोगों में से तीन तो किसी तरह बच गए जबकि मां-बेटी की मलबे में दबकर मौत हो गई। परिवार के दो घायलों को अस्पताल में भर्ती कराया गया है जबकि एसडीआरएफ ने मां बेटी के शवों को मलवे से निकाल लिया है। क्षेत्र की कई दुकानें बह गई है तथा कई मवेशियों के बहने की खबर है। स्थानीय पुलिस प्रशासन व एसडीआरएफ बचाओ व राहत कार्यों में जुटे हैं।
उधर चमोली में बादल फटने से भारी नुकसान होने की खबर है। यहां बिजली घर में पानी और मलवा घुस गया तथा पानी के तेज बहाव में ट्रांसफार्मर तक बह गया। क्षेत्र में बिजली-पानी की आपूर्ति ठप हो गई, वहीं कर्णप्रयाग-ग्वालदम राजमार्ग भी मलवा व पत्थर आने से बंद हो गया है। उधर गोपेश्वर के सुभाष नगर में सड़क पर खड़ी कारो पर मलवा गिरने से दो कारे चकनाचूर हो गई, गनीमत रही कि इनमें कोई व्यक्ति नहीं था। उधर बद्रीनाथ से दर्शन करके लौट रहे महाराष्ट्र से आये एक दंपति की कार दुर्घटनाग्रस्त हो गई जो अलकनंदा में गिरने से तो बच गई मगर खिड़की खुलने से एक व्यक्ति नदी में गिर गया जिसकी मौत हो गई एसडीआरएफ ने उसका शव बरामद कर लिया है।बीते रोज यमुनोत्री धाम में हुई बारिश से भारी तबाही के बाद बीते कल गंगोत्री धाम में भी वैसा ही मंजर देखने को मिला। भागीरथी नदी ने गंगोत्री धाम के घाट-मंदिर सब कुछ डुबो दिए, शिवानंद आश्रम में फंसे 11 साधुकृसंतों को रेस्क्यू कर निकला गया है। वही केदारनाथ हाईवे पर रुद्रप्रयाग से पहले हुए भारी भूस्खलन में पहाड़ का बड़ा हिस्सा सड़क पर गिरने से मार्ग बंद हो गया है। राज्य की सभी नदियां व नाले उफान पर है तथा लोगों को इनसे दूर रहने की हिदायत दी गई है। गंगा, जमुना, महाकाली तथा सरयू, गोला सहित सभी नदियों का जलस्तर बढ़ गया है। उधर देहरादून के सहस्त्रधारा में भी पर्यटकों के जाने पर रोक लगा दी गई है तथा स्कूलों में अवकाश रखा गया है।